सोमवार, 20 दिसंबर 2010

भूख

उसको जो लगी भूख तो वो काम को चला गया
मुझको जो लगी भूख तो मै व्योम में समा गया

क्या उसकी भूख और मेरी भूख दोनों में अंतर है
या उसकी भूख और मेरी भूख दोनों समानांतर है

पेट और पेट तले की भूख संग जो चला चला गया
भूख जो उपर हो पेट से तृप्त, मुक्त हो चला गया

भूख की भूख भक्षक बनी जग उसी में निगला गया         
सिर्फ यही सोच को लिए मै भीतर ही विचला गया

उसको जो लगी भूख तो वो काम को चला गया
मुझको जो लगी भूख तो मै व्योम में समा गया

1 टिप्पणी:

प्रवीण पाण्डेय ने कहा…

काश सबकी भूख सात्विक होती।